गर्मी के तीखे तेवर में माजीसा के भक्तों का कम नही हुआ जोश
हजारो श्रदालुओं ने जयकारों के साथ माजीसा के आगे नवाया शीश
जसोल- वैशाख मास की शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी पर जसोलधाम स्थित माता राणी भटियाणी मंदिर में श्रद्धालुओं की रेलमपेल लगी रही। मेले में आसपास के गांवों के अलावा दूर-दराज के क्षेत्रों से बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने मां के दरबार में पूजा-अर्चना की तथा मत्था टेककर घर-परिवार में खुशहाली की कामना की। शनिवार सुबह से ही मंदिर में दर्शनार्थियों के आने का सिलसिला प्रारंभ हो गया था, जो दिन चढ़ने के साथ बढ़ता गया। श्रद्धालुओं ने माजीसा के साथ मंदिर परिसर स्थित श्री सवाईसिंहजी राठौड़, श्री लालबन्नासा, श्री बायोसा, श्री खेतलाजी व श्री भैरूजी मंदिर में विधि-विधान से पूजा-अर्चना कर खुशहाली की कामना की। श्रद्धालुओं के लगाए जयकारों से व भजनों से माहौल धर्ममय बना रहा। दिनभर श्रद्धालुओं की भारी आवाजाही से यहां मेला-सा माहौल नजर आया।
माकूल रही व्यवस्थाएं-
त्रयोदशी मेले में भारी भीड़ को देखते हुए मंदिर
संस्थान की ओर से मंदिर परिसर में सुरक्षा के माकूल बंदोबस्त किए गए। संस्थान की ओर से श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए बेरीकेट्स, गर्मी को देखते हुए पेयजल के साथ सुचारू रूप से दर्शन के लिए व्यवस्था की गई। वंही दर्शनो को लेकर पहुंचने वाले श्रद्धालुओं के लिए भीषण गर्मी का ध्यान रखते हुए छांया की व्यवस्था की गई । जिससे श्रदालुओं को राहत मिल सके।
बड़ी संख्या में पहुंचे पैदल जत्थे –
त्रयोदशी को माता के दर्शन करने के लिए बाड़मेर, जोधपुर, नागौर, जालोर, सांचोर, सिरोही, पाली, जैसलमेर आदि जिलों से सैकड़ों किमी की दूरी तय कर दर्जनों की संख्या में पैदल जत्थे मंदिर पहुंचे। डीजे साउंड पर बजते माजीसा के भजनों पर झूमते नाचते मंदिर पहुंचे। श्रद्धालुओं ने मंदिर पहुंच माजीसा के समक्ष दर्शन कर शीश नवाया। मंदिर में मां के दर्शनार्थ आए नव विवाहित जोड़ों ने मंदिर की परिक्रमा लगाकर अपने सुखी दांपत्य जीवन की कामना की।