संस्थान अध्यक्ष रावल किशनसिंह जसोल ने ट्रस्ट द्वारा करवाए गए कार्यों को लेकर जानकारी दी। जिस पर महंत नारायणगिरी महाराज ने कहा कि ये सब आपके अथक प्रयासों और अपने जीवन के श्रेष्ठ अनुभव से इतने कम समय में यह भव्यता लाना सम्भव हुआ हैं। इस कठिन परिश्रम का श्रेय रावल किशनसिंह जी आपको जाता है। मैं आपको साधुवाद स्वरूप आशीष देता हूं कि स्वस्थ और दीर्घायु रहे। इस दौरान उन्होंने कहा कि मुझे माता के चरणों मे आने से खुशी मिलती है। कभी निराशा हाथ नही लगती।
कलयुग की चमत्कारी देवी श्री राणी भटियाणी जी की पूजा-आराधना सभी वर्गों के लोग 365 दिन करते। जिससे जसोल को जसोलधाम शक्ति पीठ के रूप में जाना जा रहा हैं। नारायणगिरी महाराज ने कोरोना काल के समय ट्रस्ट मंडल की ओर से जन मानस की सेवा को लेकर किए गए कार्यों की भी सराहना की। इस दौरान मंदिर ट्रस्ट की और से स्वागत किया गया।