राजस्व मंत्री चौधरी का खारवाल समाज ने पुतला फूंका
बालोतरा
राजस्वमंत्री अमराराम चौधरी द्वारा नमक उत्पादक खारवाल समाज के लोगों की
खाने बर्बाद होने पर पैरवी नहीं करने व अडंगा बाजी लगाने को लेकर रविवार
को खारवाल समाज के लोगों ने राजस्वमंत्री अमराराम चौधरी का पुतला जलाकरविरोध जताया। नमक उत्पादक खारवाल समाज ने बताया कि पचपदरा साल्ट में
सरकार द्वारा स्वीकृत महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट रिफाइनरी की चपेट में आने
से करीब 200 नमक की खाने बर्बाद हो रही है। नमक उत्पादक समाज को इसके
कारण लाखों रुपए का नुकसान हो रहा है। करीब सैकड़ों नमक उत्पादन को वह
आस-पास के दर्जनों गांवों के श्रमिकों की रोजी रोटी प्रत्यक्ष रुप से
प्रभावित हो रही है। नुकसान प्रभावित खारवाल समाज ने अपने हितों की रक्षा
के लिए न्यायालय की शरण भी ले रखी है। लेकिन राजस्थान सरकार की हठधर्मिता
वह मनमानी के कारण नमक उत्पादक समाज की गुहार की अनदेखी की जा रही है।
लवण उत्पाद खारवाल समाज के लोगों को विभिन्न क्षेत्र तथा अपनी मालिकाना
हक वाली विरासत तक जाने से भी रोका जा रहा है। कानून का डर दिखाकर खारवाल
समाज के करीब 40 युवाओं के खिलाफ पुलिस और प्रशासन द्वारा एक वर्ष के लिए
पाबंद के नोटिस जारी करवा कर उनकी भावनाओं को व हितों को कुचलने का
प्रयास किया जा रहा है। 4 जनवरी को पचपदरा साल्ट स्थित सांभरा आशापुरा
माताजी मंदिर में मुख्यमंत्री के आगमन से पूर्व राजस्वमंत्री चौधरी,
पुलिस व प्रशासन के आला अधिकारियों ने मिलीभगत का झांसा यह दिया कि लवण
उत्पादक की मांगे मुख्यमंत्री तक पहुंचा दी गई है। तथा जब भी यहां आएगी
तब आप के प्रतिनिधि मंडल को मिलाकर आप को संतुष्ट भी कर दिया जाएगा।
उनके झांसे में आकर खारवाल समाज ने गर्मजोशी से स्वागत किया। लेकिन ऐन
मौके पर राजस्वमंत्री ने रंग पलटते हुए समाज को मुख्यमंत्री के समक्ष
अपनी बात तक नहीं रखने दी। इससे समाज ने राजस्वमंत्री के खिलाफ जारी
आंकड़ों से समाज ने निर्णय लिया है कि रविवार को पचपदरा के मेन बाजार में
राजस्वमंत्री चौधरी का पुतला फूकेगे इस निर्णय पर रविवार को राजस्वमंत्री
का पुतला फुंककर नमक उत्पादक खारवाल समाज ने विरोध जताया। आगामी रणनीति
के तहत क्रमवार शांतिपूर्वक आंदोलन करेंगे जिसके तहत प्रधानमंत्री की सभा
का खारवाल समाज पूर्ण रूप से बहिष्कार करेगा तथा समाज के प्रत्येक घर पर
काला झंडा फहराकर विरोध दर्ज करवाया जाएगा। अगर खारवाल समाज की ओर से
प्रस्तुत मांग पत्र पर सरकार द्वारा सहानुभूतिपूर्वक निर्णय नहीं किया
गया तो भारत भर के खारवाल समाज का आंदोलन किया जाएगा जिसकी तमाम
जिम्मेदारी सरकार की रहेगी। इस अवसर पर खारवाल समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष
छगनसिंह, पारसमल खारवाल, महेश कुमार, जैसलसिंह खारवाल, हनुमानराम,
गोविन्दराम खारवाल, जगदीश खारवाल, उप सरपंच नरेश कुमार खारवाल सहित
सैकड़ों की समाज की महिलाए व पुरूष उपस्थित थे।
राजस्वमंत्री अमराराम चौधरी द्वारा नमक उत्पादक खारवाल समाज के लोगों की
खाने बर्बाद होने पर पैरवी नहीं करने व अडंगा बाजी लगाने को लेकर रविवार
को खारवाल समाज के लोगों ने राजस्वमंत्री अमराराम चौधरी का पुतला जलाकरविरोध जताया। नमक उत्पादक खारवाल समाज ने बताया कि पचपदरा साल्ट में
सरकार द्वारा स्वीकृत महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट रिफाइनरी की चपेट में आने
से करीब 200 नमक की खाने बर्बाद हो रही है। नमक उत्पादक समाज को इसके
कारण लाखों रुपए का नुकसान हो रहा है। करीब सैकड़ों नमक उत्पादन को वह
आस-पास के दर्जनों गांवों के श्रमिकों की रोजी रोटी प्रत्यक्ष रुप से
प्रभावित हो रही है। नुकसान प्रभावित खारवाल समाज ने अपने हितों की रक्षा
के लिए न्यायालय की शरण भी ले रखी है। लेकिन राजस्थान सरकार की हठधर्मिता
वह मनमानी के कारण नमक उत्पादक समाज की गुहार की अनदेखी की जा रही है।
लवण उत्पाद खारवाल समाज के लोगों को विभिन्न क्षेत्र तथा अपनी मालिकाना
हक वाली विरासत तक जाने से भी रोका जा रहा है। कानून का डर दिखाकर खारवाल
समाज के करीब 40 युवाओं के खिलाफ पुलिस और प्रशासन द्वारा एक वर्ष के लिए
पाबंद के नोटिस जारी करवा कर उनकी भावनाओं को व हितों को कुचलने का
प्रयास किया जा रहा है। 4 जनवरी को पचपदरा साल्ट स्थित सांभरा आशापुरा
माताजी मंदिर में मुख्यमंत्री के आगमन से पूर्व राजस्वमंत्री चौधरी,
पुलिस व प्रशासन के आला अधिकारियों ने मिलीभगत का झांसा यह दिया कि लवण
उत्पादक की मांगे मुख्यमंत्री तक पहुंचा दी गई है। तथा जब भी यहां आएगी
तब आप के प्रतिनिधि मंडल को मिलाकर आप को संतुष्ट भी कर दिया जाएगा।
उनके झांसे में आकर खारवाल समाज ने गर्मजोशी से स्वागत किया। लेकिन ऐन
मौके पर राजस्वमंत्री ने रंग पलटते हुए समाज को मुख्यमंत्री के समक्ष
अपनी बात तक नहीं रखने दी। इससे समाज ने राजस्वमंत्री के खिलाफ जारी
आंकड़ों से समाज ने निर्णय लिया है कि रविवार को पचपदरा के मेन बाजार में
राजस्वमंत्री चौधरी का पुतला फूकेगे इस निर्णय पर रविवार को राजस्वमंत्री
का पुतला फुंककर नमक उत्पादक खारवाल समाज ने विरोध जताया। आगामी रणनीति
के तहत क्रमवार शांतिपूर्वक आंदोलन करेंगे जिसके तहत प्रधानमंत्री की सभा
का खारवाल समाज पूर्ण रूप से बहिष्कार करेगा तथा समाज के प्रत्येक घर पर
काला झंडा फहराकर विरोध दर्ज करवाया जाएगा। अगर खारवाल समाज की ओर से
प्रस्तुत मांग पत्र पर सरकार द्वारा सहानुभूतिपूर्वक निर्णय नहीं किया
गया तो भारत भर के खारवाल समाज का आंदोलन किया जाएगा जिसकी तमाम
जिम्मेदारी सरकार की रहेगी। इस अवसर पर खारवाल समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष
छगनसिंह, पारसमल खारवाल, महेश कुमार, जैसलसिंह खारवाल, हनुमानराम,
गोविन्दराम खारवाल, जगदीश खारवाल, उप सरपंच नरेश कुमार खारवाल सहित
सैकड़ों की समाज की महिलाए व पुरूष उपस्थित थे।